- भारत सरकार देश की सुरक्षा के साथ नहीं करना चाहते कोई खिलबाड़
-- तैयार हो रहा है महिलाओं के लिए बैरक, हर प्रकार की होगी सुविधा
भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (ITBP) ने वास्तविक नियंत्रण रेखा पर चीन सीमा के पास 32 बॉर्डर चौकियों पर खास महिला बैरक बनाने की योजना बनाई है। इस कदम के बाद भारत की महिला सुरक्षाकर्मी भारत-चीन सीमा पर फ्रंटलाइन के और करीब तैनात हो सकेंगी।महिला सुरक्षा कर्मियों को लद्दाख, अरुणाचल प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और सिक्किम में अग्रिम चौकियों पर तैनात करने की योजना है. ITBP की ये महिला योद्धा चीन के साथ भारत की सीमा की रक्षा करेंगी जिसका जिम्मा अब तक सिर्फ पुरुषों के पास था.
रिपोर्ट के अनुसार, ITBP पहली बार 32 बॉर्डर चौकियों पर खास महिला बैरक बनाएगी. हर बैरक में डॉरमेट्री और डबल या ट्रिपल-शेयरिंग कमरे होंगे. इन बैरकों में एक साथ लगभग 30 महिला कर्मियों के रहने की व्यवस्था की जाएगी.
महिला बैरकों में जरूरत की सारी सुविधाएं होंगी. इसमें एक सेंट्रल डाइनिंग एरिया भी होगा जिसमें पूरी तरह से सुसज्जित किचन और आधुनिक शौचालय की सुविधा होगी। LAC के पास खराब मौसम की स्थिति को ध्यान में रखते हुए इंसुलेशन, गर्मी बनाए रखने और हवाओं से सुरक्षा को प्राथमिकता दी जाएगी। भारत-तिब्बत सीमा पुलिस में अभी लगभग 4,000 महिला कर्मी हैं. इनकी संख्या धीरे-धीरे बढ़ाई जानी है. मार्च 2026 तक 1,375 और महिलाओं को ITBP में शामिल करने की योजना है।LAC पर पूरी तरह से महिलाओं वाली बॉर्डर आउट-पोस्ट: ITBP के डायरेक्टर जनरल प्रवीण कुमार पिछले महीने ही ये घोषणा कर चुके हैं कि फोर्स के फॉरवर्डाइजेशन प्लान के तहत LAC पर 10 पूरी तरह से महिलाओं वाली बॉर्डर आउट-पोस्ट बनाई जाएंगी. बता दें कि सीमा सुरक्षा बलों में महिलाओं की भागीदारी जनवरी 2016 से काफी ज्यादा बढ़ी है क्योंकि केंद्र सरकार ने CRPF में कांस्टेबल लेवल की 33 प्रतिशत पोस्ट महिलाओं के लिए आरक्षित कर दी हैं. BSF, SSB और ITBP जैसे सीमा सुरक्षा बलों में 14 से 15 प्रतिशत कांस्टेबल पोस्ट महिलाओं के लिए रिजर्व हैं।
महिला कर्मियों के लिए सुरक्षित माहौल
शीतकालीन सत्र में केंद्र सरकार ने संसद में बताया था कि सेंट्रल आर्म्ड पुलिस फोर्सेज में महिला कर्मियों के लिए सुरक्षित काम करने की स्थिति सुनिश्चित करने के लिए कदम उठाए जा रहे हैं।।इनमें अलग रहने की जगह, आराम और चेंजिंग रूम, शौचालय, क्रेच और डे केयर सेंटर साथ ही महिलाओं के लिए खास मेडिकल सहायता शामिल है. महिला हेल्प डेस्क, गोपनीय शिकायत सिस्टम, जेंडर सेंसिटाइजेशन वर्कशॉप और फ्लेक्सिबल ड्यूटी सिस्टम भी लागू किए जा रहे हैं। महिला कर्मियों को आमतौर पर जोड़ी या ग्रुप में तैनात किया जाता है। (तिब्बत से अशोक झा की रिपोर्ट )
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