- चुनाव आयोग ने लगाया स्पेशल कैंप, कोशिश रहेगी किसी का नाम मतदाता शिविर से नाम ना कटे
नोर्थ कोलकाता के सोनागाछी की सेक्स वर्कर्स तीन स्पेशल कैंप की लाइन में खड़ी थीं, इस उम्मीद में कि बंगाल में चल रहे एसआईआर में उनका नाम वोटर लिस्ट से नहीं हटेगा। वोटर आईडी कार्ड उन महिलाओं के लिए बहुत जरूरी दस्तावेज है, जिनका पता सरकारी कागजों में अक्सर कम मायने रखता है, क्योंकि वे भारत के सबसे बड़े रेड-लाइट इलाकों में से एक में रहती हैं। पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव 2026 के पहले मतदाता सूची विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) के तहत यौनकर्मियों को गणना प्रपत्र भरने में मदद करने के लिए राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय (सीईओ पश्चिम बंगाल) ने बुधवार को कोलकाता के कई रेड-लाइट एरिया में कैंप लगवाये। एक अधिकारी ने यह जानकारी देते हुए बताया कि खिदिरपुर, कालीघाट और चेतला के रेड-लाइट एरिया में एसआईआर कैंप लगाये गये।
एशिया के सबसे बड़े रेड लाइट एरिया में लगा एसआईआर कैंप
यह कदम पूर्वी महानगर के एशिया के सबसे बड़े 'रेड-लाइट' एरिया सोनागाछी में इसी तरह के सहायता शिविरों के आयोजन किये जाने के एक दिन बाद उठाया गया है। अधिकारी ने बताया कि तीनों रेड-लाइट इलाकों में बनाये गये विशेष शिविरों ने सुबह 11 बजे से काम करना शुरू कर दिया था।
खिदिरपुर के मुंशीगंज, चेतला और कालीघाट में भी लगे शिविर: निर्वाचन आयोग के अधिकारी ने बताया कि ये विशेष शिविर खिदिरपुर के मुंशीगंज मार्ग पर स्थित फाइव स्टार क्लब में और 148 कालीघाट मार्ग पर आयोजित किये गये थे. दोनों शिविर दोपहर 12:40 बजे तक बंद कर दिये गये थे. अधिकारी ने बताया कि चेतला में यौनकर्मियों को गणना प्रपत्र भरने में सहायता की गयी. यहां 4 बजे तक शिविर में बीएलओ ने यौनक्रमियों की मदद की।
खिदिरपुर में 70, कालीघाट में 100 और चेतला में 60 यौनकर्मी: खिदिरपुर में कम से कम 70 यौनकर्मी हैं, जबकि कालीघाट में इनकी संख्या लगभग 100 है. चेतला में लगभग 60 यौनकर्मी हैं। यौनकर्मियों और उनके बच्चों के कल्याण के लिए काम करने वाले विभिन्न संगठनों की ओर से कई चिंताजनक मुद्दे उठाये जाने के बाद चुनाव आयोग की ओर से इस पहल की शुरुआत की गयी। सोनागाछी के सहायता शिविर में पहुंचीं 805 यौनकर्मी: मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय ने आश्वासन दिया था कि समुदाय (यौनकर्मियों) की चिंताओं को दूर करने और उनका समर्थन करने के लिए विशेष शिविरों का आयोजन किया जायेगा. मंगलवार को सोनागाछी में 805 यौनकर्मी निर्वाचन आयोग के सहायता शिविरों में पहुंचीं. उनके चेहरों पर चिंता साफ झलक रही थी. हालांकि, मुख्य निर्वाचन अधिकारी मनोज कुमार अग्रवाल ने कहा कि एक भी पात्र मतदाता को मतदान से वंचित नहीं होने दिया जायेगा।
लंबे अरसे से अपने परिवारों को संपर्क में नहीं यौनकर्मी
उत्तर कोलकाता के वार्ड नंबर 18 की संकरी गलियों और भीड़भाड़ वाली कोठियों में वर्षों से रह रही कई महिलाओं ने कहा कि उन्हें डर है कि उनके नाम मतदाता सूची से हटा दिये जायेंगे, क्योंकि उनके पास पारिवारिक संबंधों को दर्शाने वाला कोई प्रमाण नहीं है या फिर दशकों पहले तस्करी किये जाने, छोड़ दिये जाने या घर से भाग जाने के बाद वे लंबे समय से अपने परिवारों के संपर्क में नहीं हैं।
( बंगाल से अशोक झा की रिपोर्ट )
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