- DIG भुल्लर के घर से भारी मात्रा में कैश व गहने बरामद, भ्रष्टाचार का सबसे बड़ा धनकुबेर है पूर्व डीजीपी का पुत्र भुल्लर
- जनता और सिस्टम के लिए ऐसे अधिकारी सबसे बड़े खतरनाक
पंजाब के रोपड़ रेंज में तैनात DIG हरचरण सिंह भुल्लर पर सी.बी.आई. का शिकंजा और तेज होने वाला है। क्योंकि बताया जा रहा है कि CBI ने DIG भुल्लर के घर से भारी मात्रा में कैश व गहने बरामद किए है।डीआईजी भुल्लर के घर पर तलाशी के दौरान बड़े खुलासे हुए हैं। सूत्रों के अनुसार, उनके घर पर नोटों की गिनती के लिए एक मशीन मंगाई गई है, जिससे नोटों की गिनती की जा रही है। अभी तक सीबीआई ने आधिकारिक रूप से बरामदगी की जानकारी नहीं दी है, लेकिन सूत्रों के मुताबिक, उनके घर से लगभग 5 करोड़ रुपये नकद बरामद हो चुके हैं। इसके अलावा, डेढ़ किलो से अधिक सोना, 15 से ज्यादा प्रॉपर्टी के दस्तावेज और कई महंगी गाड़ियाँ भी डीआईजी के पास होने की बात सामने आ रही है। हरचरण सिंह भुल्लर की गिनती पहले पंजाब के सख्त और ईमानदार पुलिस अधिकारियों में होती थी. उनका नशा विरोधी अभियान 'युद्ध नशेआं विरुद्ध' काफी चर्चा में रहा था। 27 नवंबर 2024 को उन्हें रोपड़ रेंज का डीआईजी बनाकर भेजा गया, जहाँ आते ही उन्होंने अवैध कार व्यापार और चेसिस नंबर बदलकर बेची जा रही चोरी की कारों के खिलाफ सख्त अभियान शुरू कर दिया था। डीआईजी के इस सख्त एक्शन से अवैध कार और स्क्रैप कारोबारियों में हड़कंप मच गया. इसी जांच के दौरान, फतेहगढ़ साहिब के मंडी गोबिंदगढ़ का स्क्रैप कारोबारी आकाश बत्ता डीआईजी की रडार पर आ गया. आरोप है कि डीआईजी हरचरण सिंह भुल्लर ने कारोबारी पर एक फर्जी मुकदमा दर्ज करवा दिया और फिर मामले को रफा-दफा करने के लिए उसे ऑफिस बुलाया. वहाँ भुल्लर ने उससे 8 लाख रुपये की मांग की और कहा कि अगर वह बिना किसी परेशानी के अपना कारोबार चलाना चाहता है, तो यह रकम पहुंचानी होगी. इस एकमुश्त रकम के अलावा, डीआईजी ने कारोबारी से हर महीने 5 लाख रुपये की अतिरिक्त रिश्वत भी मांगी। डीआईजी और अन्य पुलिसकर्मियों के लगातार दबाव और धमकियों से परेशान होकर कारोबारी ने सीबीआई से संपर्क किया और डीआईजी के साथ शामिल अन्य पुलिसकर्मियों के नाम भी बताए। एक आईपीएस अधिकारी के खिलाफ शिकायत होने के कारण, सीबीआई ने पहले करीब 15 दिनों तक डीआईजी हरचरण सिंह भुल्लर पर कड़ी निगरानी रखी और पुख्ता सबूत जुटाए.जब यह पुष्टि हो गई कि डीआईजी पैसों की मांग कर रहे हैं, तो दिल्ली और चंडीगढ़ से आई 52 अधिकारियों की सीबीआई टीम ने आज एक साथ डीआईजी के ऑफिस और घर पर छापा मारा.कारोबारी से 8 लाख की रिश्वत में से पहली किस्त के रूप में 5 लाख रुपये लेते ही सीबीआई ने डीआईजी को रंगे हाथों धर दबोचा. हरचरण सिंह भुल्लर 2007 बैच के आईपीएस अधिकारी हैं और उनके पिता भी पंजाब के डीजीपी रह चुके हैं. सूत्रों का कहना है कि भुल्लर रिश्वत के पैसों का पूरा हिसाब-किताब एक खास डायरी में रखते थे, जिसकी तलाश सीबीआई कर रही है। डीआईजी को कल मोहाली कोर्ट में पेश किया जाएगा, जहाँ सीबीआई रिमांड की मांग करेगी, ताकि पूरे रैकेट में शामिल अन्य पुलिसकर्मियों और बरामद संपत्ति की जांच की जा सके। चंडीगढ़ से रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार हुआ था डीआईजी: CBI ने शिकायत की जांच के बाद जाल बिछाया और चंडीगढ़ के सेक्टर-21 में DIG के करीबी को 8 लाख रुपये लेते हुए रंगे हाथ पकड़ लिया. ट्रैप के दौरान, CBI ने DIG को एक कंट्रोल्ड कॉल भी करवाई, जिसमें उसने रिश्वत की रकम मिलने की पुष्टि की और शिकायतकर्ता व अपने साथी को ऑफिस बुलाया. इसके बाद CBI की टीम ने DIG को उसके ऑफिस से गिरफ्तार कर लिया।
पूर्व डीजीपी के बेटे हैं हरचरण सिंह भुल्लर
हरचरण सिंह भुल्लर 2009 बैच के आईपीएस अधिकारी हैं। पिछले साल उन्हें रोपड़ रेंज का डीआईजी बनाया गया था। इस रेंज में मोहाली, रूपनगर और फतेहगढ़ साहिब जिले आते हैं। इससे पहले वह जगरांव, मोहाली, संगरूर, फतेहगढ़ साहिब, खन्ना, होशियारपुर और गुरदासपुर में वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक समेत कई पदों पर तैनात रहे। रोपड़ रेंज से पहले भुल्लर को पटियाला रेंज का डीआईजी बनाया गया था। वह विजिलेंस ब्यूरो में संयुक्त निदेशक की भी जिम्मेदारी निभा चुके हैं। गिरफ्तार आईपीएस हरचरण सिंह भुल्लर पंजाब के पूर्व डीजीपी एमएस भुल्लर के बेटे हैं।
CBI की तलाशी में DIG के ठिकानों मिले सामान
करीब ₹5 करोड़ नकद (गिनती जारी), 1.5 किलो सोना-जेवरात,पंजाब में कई प्रॉपर्टी से जुड़े दस्तावेज़
मर्सिडीज और ऑडी जैसी लग्जरी कारों की चाबियां
22 महंगी घड़ियां, लॉकर की चाबियां और 40 लीटर विदेशी शराब की बोतलें,एक डबल बैरल गन, पिस्तौल, रिवॉल्वर, एयर गन और गोला-बारूद, वहीं, मध्यस्थ (मीडिएटर) के घर से भी ₹21 लाख नकद बरामद हुए हैं. CBI ने दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है और उन्हें 17 अक्टूबर 2025 को अदालत में पेश किया जाएगा. जांच और तलाशी की कार्रवाई अभी जारी है। लग्जरी जिंदगी और आमदनी से कई गुना ज़्यादा संपत्ति DIG भुल्लर का रहन-सहन एक धनकुबेर की तरह था. उनकी आय से कई गुना अधिक संपत्ति, महंगी घड़ियों का कलेक्शन, महंगी गाड़ियां, सोना, विदेशी शराब और फ्लैट्स इन सबने साफ कर दिया कि उन्होंने अपने पद का दुरुपयोग कर अवैध कमाई का एक बड़ा जाल तैयार किया था. यह मामला अब न केवल रिश्वतखोरी तक सीमित है, बल्कि आय से अधिक संपत्ति और मनी लॉन्ड्रिंग जैसे गंभीर आरोपों की दिशा में भी बढ़ रहा है.
CBI की कार्रवाई और आगे की जांच
CBI अब इस पूरे मामले की तह तक जाने में जुटी है. कैश की गिनती अब भी जारी है, जिससे यह अंदाज़ा लगाया जा रहा है कि बरामद राशि और भी बढ़ सकती है. CBI यह पता लगाने की कोशिश कर रही है कि रिश्वत के इस नेटवर्क में और कौन-कौन शामिल है और यह अवैध धन कहां-कहां निवेश किया गया है.
जनता और सिस्टम के लिए बड़ा सवाल
DIG हरचरण भुल्लर की गिरफ्तारी एक बार फिर उस सवाल को जन्म देती है कि जब ऐसे वरिष्ठ अधिकारी, जो कानून के रक्षक हैं, खुद कानून तोड़ते हैं, तो आम जनता का सिस्टम पर विश्वास कैसे कायम रह सकता है? यह मामला न केवल भ्रष्टाचार की गहराई दिखाता है, बल्कि यह भी दर्शाता है कि उच्च पदों पर बैठे कुछ लोग सिस्टम को किस तरह से अपनी निजी कमाई का जरिया बना लेते हैं। ( अशोक झा की रिपोर्ट )
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