- पहली बार बंगाल में हो रही बैठक में राष्ट्रीय , सामाजिक और शैक्षणिक मुद्दे पर होगी चर्चा
देश में छात्र हित व समाज हित हेतु जो बीज 9 जुलाई 1949 को रोपा गया था आज वह एक विशाल वटवृक्ष के रूप में स्थापित हो गया है। उसका नाम है अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद यानि एबीवीपी। इसका मूल मंत्र है ज्ञान, शील और एकता।एबीवीपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ. राजशरण शशि, राष्ट्रीय महामंत्री डॉ. वीरेंद्र सिंह सोलंकी, राष्ट्रीय संगठन मंत्री आशीष चौहान, राष्ट्रीय सह संगठन मंत्री एस. बालकृष्ण नीति निर्धारकों में एक है। अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) पश्चिम बंगाल में व्याप्त गंभीर सामाजिक, शैक्षणिक और सुरक्षा संकटों पर गहरी चिंता व्यक्त करती आ रही है। एबीवीपी ने घोषणा की कि दो और तीन अगस्त को सिलीगुड़ी में होने वाली अपनी केंद्रीय कार्यसमिति की बैठक से पहले राज्य के चार जिलों कूचबिहार, रायगंज, मालदा और कोलकाता में विशाल सभाएं आयोजित की गई। इन सभाओं में हजारों छात्र और स्थानीय युवा भाग लेंगे और इनका उद्देश्य राज्य सरकार की लापरवाह नीतियों, असंवेदनशीलता और ढुलमुल रवैये के कारण विकराल रूप ले चुकी जमीनी समस्याओं को सामने लाया गया। एबीवीपी के राष्ट्रीय महामंत्री डॉ वीरेंद्र सिंह सोलंकी ने कहा कि पश्चिम बंगाल की स्थिति आज चिंताजनक मोड़ पर है, जहां शासन का चरित्र लोकतंत्र विरोधी होता जा रहा है और छात्र, विशेषकर छात्राएं, स्वयं को असुरक्षित महसूस कर रही हैं. उन्होंने कहा कि इन सभाओं से यह स्पष्ट किया गया है कि राज्य में बांग्लादेशी घुसपैठ, महिलाओं की सुरक्षा में विफलता, छात्र संघ चुनावों का न होना, युवाओं के लिए अवसरों की कमी, शैक्षणिक संस्थाओं में गिरावट, और कुलपति व अन्य नियुक्तियों का अभाव एक त्रासदी का रूप ले चुका है. एबीवीपी इस अराजकता के खिलाफ निर्णायक संघर्ष का संकल्प लेती है।डॉ सोलंकी ने जोर देकर कहा कि बंगाल में प्रदेश सरकार की संलिप्तता से बढ़ती बांग्लादेशी घुसपैठ देश की आंतरिक सुरक्षा के साथ खिलवाड़ है।उन्होंने बताया कि राज्य के सीमावर्ती इलाकों में बांग्लादेशी घुसपैठ तेजी से बढ़ रही है और अब यह केवल सीमाओं तक सीमित नहीं रही बल्कि शहरी क्षेत्रों तक फैल गयी है. यह घुसपैठ न केवल संसाधनों पर दबाव बढ़ा रही है, बल्कि सांस्कृतिक और सामाजिक ताने-बाने को भी छिन्न-भिन्न कर रही है, और आज बंगाल की सुरक्षा और न्याय व्यवस्था बनाये रखने में सबसे बड़ी चुनौती साबित हो रही है। यही कारण है कि भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के केंद्रीय कार्यसमिति (सीडब्ल्यूसी) बैठक का आयोजन प्रथम बार उत्तरबंग के प्राण केंद्र सिलिगुड़ी शहर के उत्तरबंग मारवाड़ी पैलेस में आगामी 2 और 3अगस्त, 2025 को आयोजित होने जा रहा हैं। वैठक में भारतवर्ष के विभिन्न प्रांतों से कार्यकर्ता उपस्थित होंगे व वभिन्न महत्वपूर्ण राष्ट्रीय, सामाजिक व शैक्षणिक विषयों पर चर्चा करेंगे।विद्यार्थी परिषद के स्थाई कार्यकर्ताओं और शुभचिंतकों का एक स्नेह मिलन कार्यक्रम का आयोजन किया गया है। इस बैठक मे प्रदेश अध्यक्ष डॉ. विश्वजीत राय, अध्यक्षता अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद उत्तर बंगाल और प्रदेश सचिव दीप्त दे इसको अंतिम रूप दे रहे है। ( बंगाल से अशोक झा )
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